मूर्ति पूजा क्यों ?

एक सवाल जो आज हर कोई करता है वो है की भारत में मूर्ति पूजा क्यों की जाती है जबकि वेदों में कहा गया है इश्वर एक है. और उसका कोई आकार नहीं है.  मैं हाल ही मैं स्वामी विवेकानंद की एक फिल्म देख रहा था जिसमे एक राजा ने ये सवाल स्वामी जी से किया था. तो स्वामी जी ने दिवार पर राजा की एक तस्वीर  देखी । उन्होंने उसके मंत्री को वो तस्वीर उतारने को कहा।  जैसे ही मंत्री ने वो तस्वीर उतारी स्वामी जी ने उसको राजा की तस्वीर पर थूकने को कहा. मंत्री और राजा दोनों यह सुनकर हैरान हो गए. मंत्री बोला मैं ऐसा कैसे  कर सकता हूँ , ये तो महाराज का अपमान होगा। फिर स्वामी जी ने तर्क देते हुए कहा की यह जो तस्वीर है, कागज, रंग, लकड़ी और शीशे से बनी है. यह महाराज नहीं हैं बल्कि महराज से अलग कोई और तत्व है जिस पर आप थूक सकते हैं. लेकिन मंत्री बोला मैं ऐसा नहीं कर सकता हूँ क्योंकि इस तस्वीर को देखकर मेरे मन और बुधि को महाराज, उनकी शान शौर्य और अच्छे कर्म ही दिखाई देते हैं। यह तस्वीर प्रेरणा का स्त्रोत है. मैं अपने स्वप्न में भी इस तस्वीर पर नहीं थूकने का विचार नहीं ला सकता हूँ. ये सब सुनकर स्वामी जी बताते हैं की किसी भी मूर्ति को इसलिए बनाया और पूजा जाता है ताकि उस मूर्ति की प्रतिमा और उससे जुड़े शुद्द कर्मो और विचारों को स्मरण किया जा सके, उससे प्रेरणा ली जा सके और अपने जीवन में उससे जुड़े विचारों को उतारा जा सके. ऐसा करने से विचारों की शुधि होती है और हम परम पिता परमात्मा के और करीब आ जाते हैं.

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Colors Worked for Me

हमारा जीवन हर पल किसी ना किसी  चीज़ से प्रभावित होता रहता है. जैसे कभी कभी मुघे रंग प्रभावित करते हैं. अक्सर मुघे हरा रंग अच्छा लगने लगता  है और मैं सोचता हूँ की काश पूरे शहर का कोई कोना ऐसा ना बचे जहां शीतल पेड़ ना हों, हर जगह केवल पेड़ों की ठंडी छाया हो जो हमे सुकून और आराम दे सके, स्वस्थ्य दे सके. बारिश के मौसम में मुझको आकाश का गहरा नीला रंग अच्छा लगता है, जो मुघे अपनी गहराई में लेकर जाता है और मैं उसकी ठंडी घटा में पूरी तरह से डूब जाता हूँ. कभी मुघे कटे हुए आम का पीला रंग अच्छा लगता है और मन उसका आनंद लेने के लिए ललचाता है. कभी लाल रंग का टीका लोगों के मस्तिस्क पे अच्छा लगता है क्योंकि मुघे वो अद्यात्मिक, सच्चे, शांत और ग्यानी प्रतीत होते हैं. कभी कपड़ों का सफ़ेद रंग अच्छा लगता है क्योंकि वो मुघे मन और तन की पवित्रता का आभास करवाता है. काले रंग के आकाश में टिम टिम करते सफ़ेद तारे मुघे अहसास करवाते हैं की मेरे जीवन में मित्रों की कमी नहीं है और में अकेला नहीं हूँ.  सच कहूँ तो रंग मेरी सोच को हर पल बदलते रहते हैं और मेरी सोच मेरे जीवन को मनोरंजक बना देती है.

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